बड़ा खुलासा: (CAA) को लेकर देश में हो रहे विरोध, प्रदर्शन, हिंसा फैलाने में शामिल PFI, पढ़े पूरी खबर
हिंसा फैलाने में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) से जुड़ा बड़ा खुलासा हुआ है
नई दिल्ली. नागरिकता कानून (CAA) को लेकर देश के कई शहरों में हो रहे विरोध प्रदर्शनों के नाम होने वाली हिंसा फैलाने में शामिल पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) से जुड़ा बड़ा खुलासा हुआ है. सूत्रों के हवाले से खबर है कि पीएफआई के बैंक अकाउंट से देश के कई बड़े वकीलों को पैसे दिए गए. इनमें कपिल सिब्बल और इंदिरा जयसिंह का नाम भी शामिल है. जांच के दौरान पीएफआई के कुल 73 बैंक खातों का पता चला है.
जिनमें पीएफआई के 27 और उससे संबंधित इकाई रिहैब इंडिया फाउंडेशन (RIF) 9 और पीएफआई की 17 अलग अलग इकाइयों-व्यक्तियों से संबंधित 37 खातों में 2 से 3 दिन के अंदर अंदर 120 करोड़ रुपये जमा किए गए है.
ऐसा भी खुलासा हुआ है कि इन रुपयों को दो से तीन दिनों के भीतर मामूली रकम खातों में छोड़कर निकाल लिया गया है. ऐसा पता चला है कि पीएफआई से कई बड़े वकीलों को पैसे भेजे गए है और इन वकीलों में कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल का नाम भी शामिल हैं. यह विवरण आप ज़ी न्यूज के पास मौजूद इस दस्तावेज में देख सकते हैं.
इस खुलासे के मुताबिक पीएफआई की तरफ से कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल को 77 लाख रुपये, वरिष्ठ वकील इंदिरा जयसिंह को 4 लाख, दुष्यंत दवे को11 लाख और अब्दुल समर (एनआईए की चार्जशीट में नाम) 3 लाख रुपये दिए गए थे.
आरोपों पर क्या बोले सिब्बल और दवे
इन आरोपों को कांग्रेस नेता और वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने सिरे से खारिज करते हुए इन्हें बकवास करार दिया.
वहीं सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष वकील दुष्यंत दवे ने कहा कि वकीलों को जो फीस जाती है वह आधिकारिक तौर पर दी जाती है.
उन्होंने कहा, ‘मैंने कभी भी PFI के लिए केस नहीं लड़ा है हालांकि मुझे फिलहाल यह याद नहीं आ रहा है कि किसी मामले में अन्य पार्टी की तरफ इन्होंने मुझे भुगतान किया या नहीं.’
दवे ने कहा अगर इन्होंने मुझे कोई भुगतान भी किया है, अगर किया है तो मुझे नहीं लगता कि पहले यह कोई बैन संस्था थी. दवे ने कहा कि यह सब मेरे लिए मायने नहीं रखता है, मैं अल्पसंख्यकों की हक के लिए अदालत में लड़ता रहूंगा.
वहीं इंदिरा जयसिंह और अब्दुल समर की तरफ से इन आरोपों पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है.